नहीं रहे मशहूर अभिनेता, लेखक, नाटककार और निर्देशक गिरीश कर्नाड, PM मोदी ने जताया दुःख
भारतीय सिनेमा के जाने-माने चरित्र अभिनेता और लेखक गिरीश कर्नाड का सोमवार को लंबी बीमारी के बाद बेंगलुरु में निधन हो गया है. वे लंबे समय से बीमार चल रहे थे और कई बार अस्पताल में भर्ती कराए जा चुके थे.

गिरीश का जन्म 19 मई 1938 को महाराष्ट्र के माथेरान में हुआ था. वे 81 साल के थे. मौत की वजह मल्टीपल ऑर्गन फेल्योर बताया गया है. उनके निधन से पूरा कला जगत शोक में है. वहीं पीएम मोदी ने भी दुख जताते हुए कहा कि गिरीश कर्नाड हरेक माध्यमों में अपनी बहुमुखी अभिनय के लिए याद किए जाते रहेंगे. आने वाले सालों में उनके काम की लोकप्रियता बनी रहेगी. उनके निधन से दुखी हूं.
1998 में ज्ञानपीठ पुरस्कार पाने वाले गिरीश कर्नाड पद्मश्री और पद्मभूषण से सम्मानित हो चुके हैं. हाल के वर्षाें में गिरीश कर्नाड ने सलमान खान की फिल्म ‘एक था टाइगर’ और ‘टाइगर जिंदा है’ में भी काम किया था. टाइगर जिंदा है बॉलीवुड की उनकी अखिरी फिल्म थी. इसमें उन्होंने डॉ. शेनॉय का किरदार निभाया था. उनके द्वारा रचित हयवदन, तुगलक, तलेदंड, नागमंडल और ययाति जैसे नाटक बहुत लोकप्रिय हुए हैं और भारत की कई भाषाओं में इनका अनुवाद और मंचन होता आ रहा है.
गिरीश कर्नाड का पहला नाटक कन्नड़ में था, जिसे बाद में अंग्रेजी में अनुवाद किया गया. गिरीश देश के साहित्य, नाटक और फिल्म जगत में बड़ी हस्ती माने जाते रहे हैं. गिरीश ने कन्नड़ फिल्म संस्कार (1970) से एक्टिंग और स्क्रीन राइटिंग कॅरियर शुरू किया था. उनकी पहली फ़िल्म को ही कन्नड़ सिनेमा के लिए राष्ट्रपति का गोल्डन लोटस पुरस्कार मिला.
गिरीश कर्नाड के निधन पर फ़िल्म, राजनीति और अन्य वर्गों के लोगों ने सोशल मीडिया पर उन्हें श्रद्धांजलि दे रहे हैं. केंद्रीय सूचना प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने लिखा, फ़िल्म कलाकार गिरीश कर्नाड के निधन से दुख हुआ. उनके परिवार के सदस्यों और प्रशंसकों के प्रति मेरी संवेदनाएं. कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने भी उन्हें श्रद्धांजलि दी. अरविंद केजरीवाल ने लिखा कि उनकी कमी खलेगी.