टैक्स के नाम पर लूटा जाता है, मच्छर की तरह आपका खून चूसा जाता है..

हिंदू मुसलमान ने नाम पर आपको भड़काने का काम करने के लिए बड़े बड़े टीवी चैनल हैं…प्रज्ञा के पन्ने पर प्रज्ञा मिश्रा आपको जगाने का काम करने वाली पत्रकार है.दोस्तों इस देश की पार्टियां ट्रक भर भरकर चंदा लेती हैं..लेकिन कोई इनकम टैक्स (Tax Evasion) नहीं देना पड़ता..चुनाव में पानी के हिसाब से पैसा बहता है..करोड़ों के मंच बनते हैं..टूटते हैं लेकिन कोई टीडीएस नहीं काटता..ना कोई जीएसटी लगती..एक आदमी तीस दिन काम करता है सैलरी लेता है उस पर इनकम टैक्स देता है..
मोबाइल खरीदता है..टैक्स देता है..रिचार्ज कराता है टैक्स देता है, डेटा लेता है टैक्स (Tax Evasion) देता है.. बिजली जलाता है बिल तो देता ही है..टैक्स अलग से देता है..घर खरीदता है टैक्स देता है..घर में रहता है तो टैक्स देता है..पानी इस्तेमाल ना भी करे तो भी पानी का टैक्स देता है…टीवी फ्रीज फलाना ढिमकाना सबके लिए टैक्स देता है..घबराईये नहीं आज मैं आपको बताऊंगी जैसे मच्छर इंसान का खून चूसता है..वैसे ही सरकार टैक्स के जरिए..इंसान का खून कैसे चूसती है..आगे बढ़ते हैं..
कार ली-टैक्स (Tax Evasion) दिया
पेट्रोल लिया-टैक्स दिया
सर्विस करवाई-टैक्स दिया
रोड पर चले-टैक्स दिया
टोल पर फिर से टैक्स दिया
उसी गाड़ी को पार्किंग में खड़ी करने का टैक्स दिया..
लाइसेंस बनवाया टैक्स दिया
गलती की तो फिर फाइन के तौर पर टैक्स दिया
रेस्तरा में खाया टैक्स दिया
पानी लिया टैक्स दिया
कपड़े खरीदे टैक्स दिया
जूते खरीदे टैक्स (Tax Evasion) दिया
किताबें ली टैक्स दिया
पढ़ाई की स्कूल में टैक्स दिया
टॅायलेट गया टैक्स दिया
दवाई ली तो टैक्स दिया
गैस ली टैक्स दिया
सिलेंडर लिया टैक्स दिया
घर मंगाया तो अलग टैक्स दिया
एसा करते करते क्या आप जानते हैं..आप सरकार को एक साल में कितने रूपए टैक्स देते हैं..27 लाख करोड़ रूपए..लेकिन बदले में क्या ढंग के अस्पताल मिलते हैं नहीं..क्या ढंग के सरकारी स्कूल मिलते हैं नहीं..दोस्तों इसी तरह सैकड़ों और चीजें ली और टैक्स दिया (Tax Evasion) , कहीं फीस दी, कहीं बिल कहीं ब्याज दिया, कहीं जुर्माने के नाम पर तो कहीं रिश्वत के नाम पर पैसे देने पड़े, ये सब ड्रामे के बाद गलती से सेविंग में बच गई तो फिर से सेविंग पर टैक्स देना पड़ेगा.
इतना टैक्स (Tax Evasion) देने के बाद..सारी उम्र काम करने के बाद..सरकार की तरफ से क्या मिलता है..पेंशन तक देने में सरकार की जान जाती है..कोई सोशल सिक्युरिटी नहीं ..कोई मेडिकल सिक्योरिटी नहीं..पब्लिक ट्रांसपोर्ट नहीं, सड़कें खराब, स्ट्रीट लाईट खराब, हवा खराब, पानी खराब, फल सब्जी जहरीली..हॅास्पिटल महंगे, मरीजों के लिए बेड़ नहीं..स्कूलों में किताबें नहीं..किताबें हैं तो बेंच नहीं बेंच है तो ड्रेस नहीं.. सारा पैसा गया कहां ? करप्शन में, इलेक्शन में, अमीरों की सब्सिडी में माल्या जैसों को भगाने में ललित मोदी जैसों को भगाने में अमीरों के फर्जी दिवालिया होने में स्विस बैंकों में नेताओं के बंगले और कारों में रहा सहा विधायक खरीदने में लग जाता है..
हम और आप अपनी कमाई के पैसों (Tax Evasion) से..नेताओं के जहाज का तेल भी कभी खत्म नहीं होने देते..सांसदों के आराम में कोई कमी नहीं आने देते..लेकिन बदले में हमें क्या मिलता है..आप अपने आस पास अगल बगल देखिए..और कमेंट में लिखिए कि आपके पैसों पर ऐश करने वाले नेताओं ने आपको क्या दिया है..अपने पैसों का हिसाब लीजिए..
Disclamer- उपर्योक्त लेख लखनऊ के वरिष्ठ पत्रकार द्वारा लिखा गया है. लेख में सुचनाओं के साथ उनके निजी विचारों का भी मिश्रण है. सूचना वरिष्ठ पत्रकार के द्वारा लिखी गई है. जिसको ज्यों का त्यों प्रस्तुत किया गया है. लेक में विचार और विचारधारा लेखक की अपनी है. लेख का मक्सद किसी व्यक्ति धर्म जाति संप्रदाय या दल को ठेस पहुंचाने का नहीं है. लेख में प्रस्तुत राय और नजरिया लेखक का अपना है.